
जिला गौरेला पेंड्रा मरवाही 6 जून 2025 अच्छा व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए राज्य सरकार के दिशा-निर्देशों का पालन करते हए निष्पक्षता और पारदर्शिता के साथ जीपीएम जिले में शालाओं और शिक्षकों का युक्तियुक्तकरण किया गया है युक्तियुक्तकरण के बाद जीपीएम जिले में कोई भी शाला शिक्षक विहीन या एकल शिक्षकीय नहीं है।
कलेक्टर श्रीमती लीना कमलेश मंडावी ने कलेक्ट्रेट के अरपा सभा कक्ष में आयोजित प्रेस वार्ता में युक्तियुक्तकरण की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 और राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के दिशा निर्देशों के अनुरूप शिक्षकों और शालाओं का युक्तियुक्तकरण किया गया है। नगरी इलाकों में छात्रों की तुलना में अधिक शिक्षक पदस्थ थे, जबकि ग्रामीण और दूरस्थ अंचलों की शालाओं में स्थिति इसके विपरीत थी वहां शिक्षकों कमी थी, जिसके चलते शैक्षणिक गतिविधियों प्रभावित हो रही थी और छात्र-छात्राओं की परीक्षा परिणाम भी प्रभावित हो रहा था इसी स्थिति को सुधारने के उद्देश्य ही प्रदेश सरकार द्वारा युक्तियुक्तकरण का कदम उठाया गया है। जिससे जिन शालाओं में शिक्षक की जरूरत है वहां शिक्षक उपलब्ध होंगे।
कलेक्टर ने कहा कि हमारे जिले में 4 प्राथमिक शालाएं शिक्षक विहीन एवं 130 शालाएं एकल शिक्षकीय थे। हमारे जिले में कोई भी पूर्व माध्यमिक शाला शिक्षक विहीन नहीं था किंतु 10 एकल शिक्षकीय शालाएं थी हमारे जिले में प्राथमिक स्कूलों में 174 शिक्षक और पूर्वमाध्यमिक शालाओं में 163 शिक्षकों की आवश्यकता थी। हमारे जिले में प्राथमिक शालाओं में 135 और पूर्व माध्यमिक शालाओं में 43 शिक्षक ही अतिशेष थे युक्तियुक्तकरण से शिक्षा विहीन विद्यालयों में शिक्षकों की उपलब्धता के साथ ही एक ही परिसर में शाला होने से आधारभूत संरचना मजबूत होगी और स्थापना व्वय में कमी आएगी।
कलेक्टर ने कहा कि युक्तियुक्तकरण कोई कटौती नहीं, बल्कि गुणवत्ता और समानता की दिशा में बड़ा कदम है। हमारे जिले में 13 शालाओं का समायोजन किया गया है। हमामें जिले में 844 स्कूलों में से 831 स्कूल यथावत संचालित होंगे। अतिशेष शिक्षकों को पुनः समायोजन कर एकल शिक्षकीय और शिक्षक विहीन शालाओं में पद स्थापना की गई है। इसके पश्चात हमारे जिले में कोई शाला शिक्षक विहीन या एकल शिक्षकीय नहीं है।
युक्तियुक्तकरण होने वाले फायदे के कुछ माध्यमिक
पूर्व माध्यमिक शाला मनौरा मैं 63 दर्ज संख्या में 6 शिक्षक थे जबकि पूर्व माध्यमिक शाला बगरार में 70 दर्ज संख्या में एक ही शिक्षिका थी युक्तियुक्तकरण के पश्चात बगरार में भी 3 शिक्षक हो गए हैं। हाई स्कूल धोबहर मैं दो कक्षाओं नवमी और दसवीं के 68 बच्चौ के लिए अंग्रेजी की 3 व्याख्याता कार्यरत थे जबकि शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय जोगीसार में कक्षा नवमी से 12वीं तक के 168 बच्चौ के लिए अंग्रेजी के कोई भी व्याख्याता नहीं थे युक्तियुक्तकरण के पश्चात जोगीसार में अंग्रेजी के व्याख्याता को पदस्थ किया गया है। कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालय कुम्हारी के लिए सिर्फ एक शिक्षिका थी अब युक्तियुक्तकरण पश्चात वहां 3 शिक्षिकाएं हो गई हैं। प्राथमिक शाला ठेंगाडाड एवं प्राथमिक शाला और औराढोढी विकासखंड गौरेला मे क्रमशः 32 और 35 छात्र छात्रों के लिए 4-4 शिक्षक पदस्थ थे जबकि प्राथमिक शाला नेवरी में 78 छात्र-छात्राओं के लिए कोई भी शिक्षक कार्यरत नहीं थे इसी तरह प्राथमिक शाला तराईगांव में 88 छात्र छात्रों के लिए एक शिक्षक कार्य थे। युक्तियुक्तकरण पश्चात नेवरी में 2 शिक्षक और तराई गांव में 3 शिक्षक पदस्थ किए गये है।